Monday, 11 December 2017

वचनवंश के 11रवे महन्थ आचार्य गुरु राज नारायण साहेब जी को श्रद्धांजलि देने के लिए आयोजित संत महासम्मेलन।


सत् कबीर वचनवंशीय मूल आचार्य गद्दी रोसरा के द्वारा आचार्य गुरु राज नारायण साहेब जी के सत्यलोकगमन होने के उपरांत
उनको श्रद्धांजलि देने के लिए सत् कबीर वचन वंश आचार्य गद्दी तथा कबीर पंथ के आचार्य गुरु संत महन्थ हंस जनों का महासम्मेलन आयोजित किया गया।
  कबीर पंथ का विशाल संत महासम्मेलन का कार्यक्रम यह सत् कबीर वचन वंश आचार्य गद्दी के द्वारा संचालित  संत कबीर महा विद्यालय रोसड़ा में किया गया।

कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए संत कबीर रामजीवन सामाजिक शोध संस्थान के संस्थापक तथा वचन वंश के वरिष्ठ महंत आचार्य डा.विद्यानंद शास्त्री जी ने
आचार्य राज नारायण साहिब जी को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि आचार्य गुरु राज नारायण साहेब कबीर पंथ के एक क्रांतिकारी नायक थे।

आचार्य विद्यानंद शास्त्री साहेब ने कहा कि सदगुरु कबीर के क्रांतिकारी विचारों को समाज के जन जन तक पहुंचाने के लिए।
गुरु राज नारायण साहेब ने जो त्याग और समर्पण के साथ काम किया वह कबीर पंथ के इतिहास में सदा स्मरणीय रहेगा ।


महासम्मेलन को संबोधित करते हुए आचार्य विद्यानंद शास्त्री साहेब ने कहा कि सदगुरु कबीर के विचार आज भी प्रासंगिक है परंतु उनका सपना अधूरा है।
क्योकी हमारा समाज आज भी सामाजिक विषमता, सांप्रदायिकता, अंधविश्वास ,जात पात  ,छुआछूत और धार्मिक  पाखंडो से भरा हुआ है।
यदि हमें इन सामाजिक कुरीतियों को दूर करते हुए  एक समतामूलक और संप्रदायिकताविहीन समाज की स्थापना करना है ।
तो हमें सतगुरु कबीर साहेब के क्रांतिकारी विचारों को स्वीकार करना होगा और उनके सपने को साकार करना होगा ।

महासम्मेलन मे सामिल होते हूए देश विदेश से आए हुए संत महंत हंश जनो ने आदरणीय परम पूज्य आचार्य गुरु राज नारायण साहेब जी को श्रद्धांजलि दी ।
इस महा सम्मेलन के मुख्य अतिथि परम पूज्य रोसरा बगाईचा मठ के आचार्य गुरु दीप नारायण साहिब थे तथा अध्यक्षता वचन वंश के वरिष्ठ आचार्य डॉक्टर विद्यानंद शास्त्री साहेब ने कि।
आचार्य गुरु राज नारायण साहेब जी के महापरिनिर्वाण दिवस के उपरांत उनको श्रद्धांजलि  अर्पित करने के लिए आयोजीत।

कबीर पंथ के इस महासम्मेलन में  लाखों की संख्या में देश-विदेश से पहुंचे कबीर पंथ के संत महंत और हंश जनों ने आचार्य राज नारायण साहेब जी को श्रद्धांजलि दी ।
तथा उनको उनको कबीरपंथ के महान वचन वंश परंपरा के विकास के लिए उनके द्वारा किए गए अतुलनीय अमूल्य कार्यों को याद किया गया ।
साहेब बन्दगी ...सहेब